Thursday 29 August 2024

SIP के बारे में ये 6 गलतफहमियां आपको भी हैरान कर देंगी!

आजकल हर कोई निवेश (investment) के बारे में सोच रहा है, और इसमें सबसे पॉपुलर तरीका है म्यूचुअल फंड में SIP (Systematic Investment Plan) करना। SIP ने बहुत सारे भारतीय निवेशकों के लिए निवेश का तरीका बदल दिया है। लोग बड़े पैमाने पर म्यूचुअल फंड्स में SIP का इस्तेमाल करने लगे हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि SIP के बारे में कई गलतफहमियां (myths) हैं? आज हम इन्हीं myths को समझेंगे और इन्हें दूर करेंगे ताकि आप भी एक स्मार्ट निवेशक बन सकें।

Myth 1: SIP is an Investment Product

SIP कोई इनवेस्टमेंट प्रोडक्ट नहीं है

बहुत से लोग सोचते हैं कि SIP एक इनवेस्टमेंट प्रोडक्ट है। लेकिन सच तो यह है कि SIP कोई प्रोडक्ट नहीं है, बल्कि यह एक सुविधा है जिससे आप म्यूचुअल फंड्स में नियमित रूप से निवेश कर सकते हैं। SIP का मतलब है कि आप एक तय समय पर एक निश्चित राशि अपने बैंक खाते से कटवा कर म्यूचुअल फंड में निवेश करते हैं। इससे आप बिना ज्यादा सोचे-समझे, अनुशासित तरीके से निवेश कर सकते हैं। Example: जैसे आप हर महीने अपने मोबाइल के बिल का भुगतान करते हैं, उसी तरह SIP भी एक ऑटोमेटेड तरीका है जिससे आपका निवेश म्यूचुअल फंड में होता रहता है। यह एक सुविधा है, कोई अलग प्रोडक्ट नहीं।

Myth 2: SIP is a Separate Asset Class

SIP कोई अलग एसेट क्लास नहीं है

SIP को एक अलग एसेट क्लास मानना गलत है। SIP सिर्फ एक तरीका है जिससे आप म्यूचुअल फंड्स में निवेश कर सकते हैं। इसका प्रदर्शन पूरी तरह से उस म्यूचुअल फंड स्कीम पर निर्भर करता है, जिसे आपने चुना है। SIP एक disciplined investing approach है, न कि कोई नया इनवेस्टमेंट प्रोडक्ट। Example: जैसे कि पोस्ट ऑफिस या बैंक के रिकरिंग डिपॉजिट (Recurring Deposit) होते हैं, वैसे ही SIP भी काम करता है। यह सिर्फ एक सिस्टम है जो आपके निवेश को ऑटोमेटेड बनाता है।

Myth 3: SIP is Only for Small Investors

SIP केवल छोटे निवेशकों के लिए नहीं है

अक्सर लोग सोचते हैं कि SIP केवल छोटे निवेशकों के लिए है क्योंकि इसमें आप छोटी राशि से भी निवेश कर सकते हैं। लेकिन यह सच नहीं है। SIP में निवेश की कोई ऊपरी सीमा नहीं होती है। कई हाई नेटवर्थ इंडिविजुअल्स (HNIs) भी बड़ी राशि SIP के जरिये निवेश करते हैं। इसका बड़ा फायदा यह है कि SIP के माध्यम से म्यूचुअल फंड में निवेश करने पर आप बाजार के उतार-चढ़ाव का फायदा बेहतर ढंग से उठा सकते हैं। इसे 'रुपी-कॉस्ट एवरेजिंग' कहा जाता है, जिसमें आप अलग-अलग समय पर फंड की अलग-अलग यूनिट्स खरीदते हैं, जिससे आपकी औसत लागत कम हो जाती है। Example: मान लीजिए आप हर महीने ₹10,000 निवेश कर रहे हैं, और एक साल बाद आप ₹1,20,000 का निवेश कर चुके होंगे। लेकिन बाजार में उतार-चढ़ाव के कारण, आपको अलग-अलग समय पर अलग-अलग यूनिट्स मिलेंगी। इससे आपकी निवेश की औसत लागत कम हो जाएगी।

Myth 4: SIP is Only for Equity Funds

SIP केवल इक्विटी फंड्स के लिए नहीं है

यह मान्यता भी बिल्कुल गलत है कि SIP केवल इक्विटी फंड्स के लिए होती है। आप SIP के माध्यम से डेट फंड्स (Debt Funds), हाइब्रिड फंड्स, और यहां तक कि गोल्ड ETFs में भी निवेश कर सकते हैं। SEBI की तरफ से मान्यता प्राप्त म्यूचुअल फंड्स में इक्विटी और डेट दोनों तरह की स्कीम्स होती हैं, जिनमें से आप अपनी जरूरत के हिसाब से सही स्कीम का चुनाव कर सकते हैं। Example: अगर आप कम जोखिम लेना चाहते हैं, तो डेट फंड्स में SIP कर सकते हैं। डेट फंड्स आमतौर पर स्थिरता प्रदान करते हैं और उन निवेशकों के लिए सही होते हैं जो शॉर्ट टर्म के लिए निवेश करना चाहते हैं।

Myth 5: It’s Difficult to Withdraw from SIP

SIP से पैसे निकालना मुश्किल नहीं है

कई लोग यह सोचते हैं कि SIP से पैसे निकालना मुश्किल होता है। लेकिन यह पूरी तरह से सच नहीं है। ज्यादातर ओपन-एंडेड म्यूचुअल फंड्स में आप अपने निवेश को कभी भी निकाल सकते हैं। हां, टैक्स सेविंग स्कीम्स जैसे ELSS में 3 साल का लॉक-इन पीरियड होता है, लेकिन बाकी स्कीम्स में आप आसानी से पैसे निकाल सकते हैं। Example: अगर आप किसी वजह से SIP को बंद करना चाहते हैं या पैसे निकालना चाहते हैं, तो यह बिल्कुल आसान है। इसके लिए आपको कोई अतिरिक्त फीस नहीं देनी पड़ती है। बस ध्यान रखें कि कुछ फंड्स में एग्जिट लोड और टैक्स का ध्यान रखना होता है।

Myth 6: SIP is Only for Long-Term Investments

SIP से केवल लॉन्ग टर्म निवेश ही नहीं किया जा सकता

SIP के जरिये आप शॉर्ट टर्म और लॉन्ग टर्म दोनों तरह के निवेश कर सकते हैं। हालांकि, इक्विटी फंड्स में निवेश करने वालों को आम तौर पर सलाह दी जाती है कि वे 5-7 साल या उससे ज्यादा समय तक SIP करें ताकि वे एवरेजिंग और कंपाउंडिंग का पूरा लाभ उठा सकें। लेकिन अगर आपका निवेश का उद्देश्य शॉर्ट टर्म है, तो आप अल्ट्रा शॉर्ट ड्यूरेशन फंड्स या शॉर्ट ड्यूरेशन फंड्स में भी SIP कर सकते हैं। Example: अगर आपको दो साल बाद पैसे चाहिए, तो आप शॉर्ट ड्यूरेशन फंड में SIP कर सकते हैं। यह एक सुरक्षित विकल्प है और आपको अच्छा रिटर्न भी मिल सकता है।

Become a Smart Investor with SIP

SIP एक बहुत ही अच्छा तरीका है जिससे आप नियमित और अनुशासित तरीके से म्यूचुअल फंड में निवेश कर सकते हैं। लेकिन इसके बारे में myths को समझना और उन्हें दूर करना जरूरी है। जब तक आप इन गलतफहमियों से दूर नहीं होंगे, तब तक आप एक स्मार्ट निवेशक नहीं बन पाएंगे। याद रखें, निवेश करते समय हमेशा सही जानकारी प्राप्त करें और अपनी जरूरतों के हिसाब से सही योजना बनाएं। आप भी SIP के माध्यम से अपने निवेश को बेहतर बना सकते हैं। इसे समझें, इसकी myths को दूर करें, और स्मार्ट निवेशक बनें। https://www.bhartiekta.com/?p=21906

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